नेट-थियेट पर साकार हुयी मुन्शी प्रेमचंद की ईदगाह

जयपुर। नेट-थियेट पर हो रहे ऑनलाइन रंगमंच में इन दिनों कोरोना गाइड लाइन की पालना करते हुये छोटे नाटकों का मंचन किया जा रहा है जिसमें अभिनेताओं से सोलो अभिनय के माध्यम से दर्शकों व कलाकारों के बीच सेतु का कार्य किया जा रहा है। इसीक्रम में रंगदर्पण संस्था द्वारा छोटे बच्चों के साथ मुंशी प्रेमचंद की मशहूर कहानी ईदगाह पर आधारित नाटक मेरी ईद का मंचन किया गया।

नेट-थियेट के राजेन्द्र शर्मा राजू ने बताया कि बच्चों के साथ एक ऑनलाइन नाट्य कार्यशाला के माध्यम से इस नाटक को वरिष्ठ रंगकर्मी मनोज स्वामी के निर्देशन में तैयार किया है। नाटक मेरी ईद कहानी में हमीद अपनी दादी से मेले में जाने की जिद करता है दादी जैसे-तैसे मान जाती है और तीन पैसे मेला खर्ची देती है। हमीद अपने दोस्तों के साथ मेले में जाता है। हमीद के दोस्त मेले में खूब खरीदारी करते है तरह-तरह के पकवान खातें है किन्तु हमीद अपनी दादी के लिये चिमटा खरीद लेता है। दोस्त जब हमीद को चिढातें है तो वो सभी पर उसी चिमटे को रौब जमाता है और अंत में भूखा प्यासा घर पहुंचता है। जब दादी को इस बारे में पता चलता है तो वो डांटती है लेकिन जब हमीद कहता है कि दादी के हाथ ना जले इसलिये खरीदा है तब दादी भावुक हो कर खूब दआएं देती है।

इस नाटक में हमीद जिवितेश शर्मा, दादी और दोस्त मिहिजा शर्मा और अन्य दोस्त की भुमिका में कवितेश शर्मा ने भाग लिया। तीनों बाल कलाकार ने अपनी भावपूर्ण प्रस्तुति से दर्शकों का मन मोह लिया। संगीत विष्णु कुमार जांगिड, प्रकाश अंकित जांगिड व सेट जितेन्द्र शर्मा, अर्जुन देव, सौरभ व अंकित शर्मा नोनू रहे।



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